*विघ्नविनाशक गणपति का आध्यात्मिक रहस्य*
*सभी को गणेश चतुर्थी की हार्दिक बधाईयाँ.....*
*🌷कोई कहता कष्ट निवारक, कोई कहता विघ्न विनाशक।*
*कोई कहता सिद्धि विनायक*
*🌷शिवपुत्र गणेश के एक एक अंग की रचना, एक एक विशेषताओँ को दर्शाता है.*
*छोटा मुख*- अधिक सुनना,कम बोलना
*छोटी आँखे*- एकाग्रता
*एकदन्त*- बुराइयों को मिटाना,अच्छाइयों को धारण करना ।
*कुल्हाड़ी*- मोह ममता के बंधन काटना
*रस्सी*- उच्च व श्रेष्ठ ध्येय के समीप पहुंचानेवाली
*मोदक*- परिश्रम का पल खुशी का प्रतिक
*वक्रतुण्ड*- शक्तिशाली,विनम्रता
*वरदहस्त*- सदेव शुभ भावना देते रहना
*लम्बोदर*- समाने की क्षमता
*मूषक*- इच्छाओं पर नियंत्रण और संयम
*प्रसाद*- साधना का फल
*इस विघ्नहर्ता पर्व पर विघ्नविनाशक गणपति जी का आध्यात्मिक रहस्य को जाने और आज से अपने जीवन में एक दृढ संकल्प ले , अपने मन,वचन और कर्म द्वारा किसी के भी जीवन में विघ्नरूप नहीं बनेंगे और विघ्नहर्ता गणेश के समान औरों के छोटे-छोटे विघ्न दूर करने में सहायक बन हमें भी विघ्नहर्ता बनेंगे और विघ्नविनाशक गणेश के दैवीगुण अपने जीवन में धारण करेंगे।*
*गणेश चतुर्थी की आपकी और आपके परिवार को बहुत सारी शुभकामनाएँ और बधाईयाँ*